बिहार चुनाव में करारी शिकस्त के बाद दिल्ली में कांग्रेस हाईकमान की अहम बैठक
🔥 हार पर
मंथन, अंदरूनी कलह तेज: बिहार चुनाव में करारी शिकस्त के बाद दिल्ली में कांग्रेस
हाईकमान की अहम बैठक।।
नई दिल्ली: बिहार विधानसभा चुनाव में महागठबंधन की
हार, और विशेष रूप से कांग्रेस के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद, पार्टी के केंद्रीय
नेतृत्व ने आज नई दिल्ली स्थित इंदिरा भवन (पार्टी मुख्यालय) में एक उच्च-स्तरीय
समीक्षा बैठक की। इस बैठक में पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, पूर्व अध्यक्ष
राहुल गांधी, संगठन महासचिव के.सी. वेणुगोपाल, और बिहार के प्रभारी नेताओं सहित कई
वरिष्ठ नेता शामिल हुए।
बैठक का एजेंडा: हार के कारणों की समीक्षा
बैठक का मुख्य फोकस बिहार में पार्टी की सीटों के कम
होने के कारणों की गहन समीक्षा करना था। सूत्रों के अनुसार, बैठक में बिहार से आए
नेताओं ने अपनी रिपोर्ट पेश की, जिसमें निम्नलिखित बिंदुओं पर ज़ोर दिया गया:
संगठनात्मक निष्क्रियता: कई नेताओं ने साफ तौर पर
कहा कि ज़मीनी स्तर पर संगठन निष्क्रिय रहा और वह पार्टी के लिए आवश्यक समर्थन
जुटाने में विफल रहा।
वोट चोरी का आरोप: बैठक के बाद मीडिया से बात करते
हुए पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने मतदान के आंकड़ों में कथित धांधली और चुनाव
प्रक्रिया की पारदर्शिता पर गंभीर सवाल उठाए। उन्होंने आरोप लगाया कि चुनाव आयोग
एकतरफा काम कर रहा था और वे जल्द ही इस संबंध में ठोस सबूत पेश करेंगे।
नेतृत्व पर सवाल: हालाँकि बैठक के दौरान किसी बड़े
नेता के ख़िलाफ़ खुलकर आवाज़ नहीं उठी, लेकिन पार्टी के अंदरूनी सूत्रों का मानना
है कि बिहार के ख़राब प्रदर्शन ने एक बार फिर केंद्रीय नेतृत्व की चुनावी रणनीति
और प्रचार पर सवाल खड़े कर दिए हैं।
भविष्य की रणनीति: ‘वोट चोरी’ के मुद्दे पर आंदोलन
बैठक के बाद कांग्रेस ने संकेत दिया कि वह इस हार को
केवल चुनावी हार मानकर चुप नहीं बैठेगी, बल्कि इसे एक राजनीतिक आंदोलन में बदलेगी।
चुनावी सुधार की मांग: पार्टी ने चुनावी नतीजों को
अविश्वसनीय बताते हुए मतदान के आंकड़ों की गहन जाँच की मांग की है।
सड़क पर उतरने की तैयारी: ‘वोट चोरी’ और मतदाता सूची
में कथित धांधली (SIR अभियान) के मुद्दे को लेकर
पार्टी ने दिल्ली के रामलीला मैदान में एक महारैली आयोजित करने की योजना बनाई है,
ताकि इस मुद्दे को राष्ट्रीय स्तर पर उठाया जा सके।
संगठनात्मक बदलाव: भविष्य में बिहार सहित अन्य
राज्यों में संगठन को मज़बूत करने के लिए बड़े संगठनात्मक बदलाव किए जाने की
संभावना है।
पार्टी के एक नेता ने मीडिया को बताया, “बिहार के
परिणाम हमारे लिए अविश्वसनीय हैं। हम इन नतीजों को स्वीकार नहीं करते। हमारी लड़ाई
अब केवल चुनावी नहीं, बल्कि लोकतंत्र को बचाने की है।“
बिहार इकाई में असंतोष
इधर दिल्ली में मंथन चल रहा है, वहीं बिहार की राज्य
इकाई में बगावत के सुर तेज हो गए हैं। पटना में नाराज़ नेताओं के एक धड़े ने अलग
से बैठक कर पार्टी को ‘दलालों’ से मुक्त करने और प्रदेश नेतृत्व में तुरंत बदलाव
की मांग की है। यह आंतरिक कलह केंद्रीय नेतृत्व के लिए एक बड़ी चुनौती बन गई है।
🏛️ इंदिरा भवन (कांग्रेस मुख्यालय) की जानकारी
यह भवन भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (INC)
का
नया राष्ट्रीय मुख्यालय है, जो पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को समर्पित है।
मुख्य बिंदु:
लागत: विभिन्न मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, इस
हाई-टेक मुख्यालय के निर्माण पर लगभग ₹200 करोड़ से ₹252 करोड़ के बीच खर्च आया
है।
समय: भवन का निर्माण कार्य 2009 में शुरू हुआ था, जब
इसकी आधारशिला रखी गई थी। इसे पूरा होने में अनुमानित समय से काफी अधिक, यानी लगभग
15 साल का समय लगा।
उद्घाटन: इसका उद्घाटन जनवरी 2025 में हुआ, जिसके बाद कांग्रेस ने अपना मुख्यालय 47 साल बाद 24 अकबर रोड से 9-ए कोटला रोड पर स्थानांतरित किया।
